मेलबर्नअंजिक्य रहाणे की आकर्षक शतकीय पारी का रन आउट के साथ निराशाजनक अंत होने से ऑस्ट्रेलिया को वापसी का मौका मिला लेकिन इसके बावजूद भारत दूसरे टेस्ट क्रिकेट मैच के तीसरे दिन सोमवार को यहां अपनी पहली पारी में 326 रन बनाकर 131 रन की महत्वपूर्ण बढ़त हासिल करने में सफल रहा। ऑस्ट्रेलिया की पहली पारी के 195 रन के जवाब में भारतीय पारी तीसरे दिन लंच से ठीक पहले समाप्त हुई। भारत ने सुबह पांच विकेट पर 277 रन से आगे खेलना शुरू किया और इस तरह से तीसरे दिन पहले सत्र में केवल 49 रन जोड़े और इस बीच अपने बाकी बचे पांचों विकेट गंवाए। रहाणे ने 112 रन बनाए जबकि ने 57 रन की पारी खेली जो उनका टेस्ट क्रिकेट में 15वां अर्धशतक है। इन दोनों बल्लेबाजों ने छठे विकेट के लिए 121 रन की साझेदारी की। रहाणे की शानदार पारी का अंत रन आउट होने से हुआ। वह टेस्ट मैचों में पहली बार रन आउट हुए। उन्होंने 223 गेंदें खेली तथा 12 चौके लगाए। जडेजा उन्हें रन लेने के लिए आवाज लगायी थी जबकि तब रन लेना खतरे से खाली नहीं था और आखिर में भारतीय कप्तान को पवेलियन लौटना पड़ा। जडेजा तब अर्धशतक से एक रन दूर थे। उन्होंने शार्ट कवर पर शॉट खेला और एक रन के लिए दौड़ पड़े। रहाणे ने उन्हें वापस नहीं भेजा और रन के लिए दौड़ पड़े पर समय पर क्रीज पर नहीं पहुंच पाए। जडेजा ने हालांकि अपनी भूमिका बखूबी निभायी जबकि ऑस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाजों ने उनकी शॉर्ट पिच गेंदों से कड़ी परीक्षा ली। उन्होंने अर्धशतक पूरा करने के बाद अपने चिर परिचित अंदाज में तलवार की तरह बल्ला घुमाया। इसके बाद (26 रन देकर तीन विकेट) की एक शार्ट पिच गेंद पर पुल करके उन्होंने डीप मिडविकेट पर कैच दिया। मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड (एमसीजी) की पिच तीसरे दिन खतरनाथ नहीं दिख रही थी और ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाज रहाणे और जडेजा के सामने कोई चुनौती पेश नहीं कर पाए थे। पढ़े- ऑस्ट्रेलिया को विकेट की सख्त जरूरत थी और ऐसे में रहाणे के आउट होने से उसने राहत की सांस ली। भारत के निचले क्रम के अन्य बल्लेबाज संघर्ष नहीं कर पाए। रविचंद्रन अश्विन ने 14 रन बनाए। (72 रन देकर तीन) और जोश हेजलवुड (47 रन देकर एक) ने भारत के पुछल्ले बल्लेबाजों को समेटने में देर नहीं लगायी।
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